रीवा

बड़े रहस्यों से भरा है रीवा रियासत का यह अनोखा शिव मंदिर,दीवारों पर लिखा है इस्लामी कलमा,जानें चमत्कारिक इतिहास!

This unique Shiva temple of Rewa state is full of big mysteries, Islamic Kalma is written on the walls, know the miraculous history!

Rewa News: भारत में कई ऐसे मंदिर हैं, जो अपने इतिहास, चमत्कारों और रहस्यमयी घटनाओं के लिए प्रसिद्ध हैं। इन्हीं में से एक है रौरियानाथ महादेव मंदिर, जो मध्य प्रदेश के रीवा जिले में स्थित है। इस मंदिर की वास्तुकला, धार्मिक मान्यताएं और इससे जुड़े चमत्कार इसे विशेष बनाते हैं।

मंदिर की ऐतिहासिक और रहस्यमयी कहानी

इस मंदिर का निर्माण 9वीं शताब्दी में हुआ था। कुछ इतिहासकारों का मानना है कि इसे राजा केशव राय ने 1755 ईस्वी में बनवाया था, जबकि मंदिर के महंत इसे नाथ संप्रदाय से जुड़ा एक प्राचीन स्थल बताते हैं।

मंदिर की सबसे खास बात यह है कि इसकी पश्चिमी दीवार पर अरबी भाषा में कुछ लिखा हुआ है, जिसे कुछ लोग इस्लाम का पहला कलमा मानते हैं, जबकि कुछ इसे विशेष धार्मिक संकेत कहते हैं। इस बात को लेकर इतिहासकारों और महंतों के बीच अलग-अलग मत हैं।

वास्तुकला और अनोखी बनावट

रौरियानाथ महादेव मंदिर की संरचना भारतीय और मुगल वास्तुकला का मिश्रण है। मंदिर की विशेषताएं इस प्रकार हैं:

गर्भगृह में भगवान शिव और माता पार्वती की प्रतिमा विराजमान है।

मुख्य गुंबद नागर शैली से प्रभावित है, जबकि अन्य गुंबदों में मुगल शैली की झलक मिलती है।

दीवारों पर उकेरी गई कलाकृतियां, जिनमें पशु-पक्षी और अन्य पौराणिक आकृतियां शामिल हैं।

मंदिर की सीढ़ियां तंग और रहस्यमयी हैं, जो इसकी प्राचीनता और वास्तुशिल्पीय उत्कृष्टता को दर्शाती हैं।

बड़े रहस्यों से भरा है रीवा रियासत का यह अनोखा शिव मंदिर,दीवारों पर लिखा है इस्लामी कलमा,जानें चमत्कारिक इतिहास!

चमत्कारी घटनाएं और रहस्य

1. शिवलिंग पर सूर्य की किरणों का स्पर्श

मंदिर का निर्माण कुछ इस प्रकार किया गया है कि सूर्योदय और सूर्यास्त के समय सूर्य की किरणें सीधे शिवलिंग पर पड़ती हैं। यह घटना रामचरितमानस की एक चौपाई—

“उदय अस्त गिरवर कैलाशु, ऊमा सहित तहूं करै निवासू”

से मेल खाती है, जिससे माना जाता है कि यहां स्वयं भगवान शिव और माता पार्वती विराजमान हैं।

2. तालाब में सूर्य देव का प्रतिबिंब

मंदिर के पास एक रहस्यमयी तालाब स्थित है। कहा जाता है कि जब इसमें जल भरा होता है, तो सूर्य देवता के रथ की छाया पानी में स्पष्ट रूप से दिखाई देती है।

3. नाग देवता की उपस्थिति

महंतों के अनुसार, इस मंदिर में एक विशालकाय नाग देवता वास करते हैं, जो कई बार संध्या आरती के दौरान प्रकट होते हैं और शिवलिंग से लिपटकर फन फैलाकर बैठ जाते हैं। आरती समाप्त होने के बाद वे अचानक अदृश्य हो जाते हैं।

4. चमत्कारी उपचार

कहा जाता है कि इस मंदिर में कई बार असाध्य रोगियों का इलाज चमत्कारी रूप से हुआ है। एक बार एक मृतप्रायः बालक को यहां लाया गया, और मंदिर में प्रवेश करते ही उसने अपनी आँखें खोल दीं और पानी मांगा। उसके परिवार ने इसे भगवान शिव का चमत्कार माना।

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गंगा-जमुनी तहजीब का प्रतीक मंदिर

इस मंदिर को धार्मिक सौहार्द्र और भाईचारे का प्रतीक भी माना जाता है। मंदिर की दीवार पर उकेरे गए अरबी भाषा के शिलालेख को लेकर अलग-अलग मत हैं। इतिहासकार इसे इस्लाम के पहले कलमा से जोड़ते हैं, जबकि महंत इसे गूढ़ भाषा में लिखी गई रहस्यमयी लिपि बताते हैं, जिसका सही अर्थ अब तक ज्ञात नहीं है।

मंदिर में विशेष अनुष्ठान और सिद्धियां

महंतों के अनुसार, इस मंदिर में एक गुप्त अनुष्ठान किया जाता है, जिससे व्यक्ति को इच्छित फल की प्राप्ति होती है। हालांकि, इसका रहस्य केवल कुछ विशेष लोगों को ही बताया जाता है।

निष्कर्ष

रौरियानाथ महादेव मंदिर न केवल एक धार्मिक स्थल है, बल्कि यह रहस्यमयी घटनाओं, चमत्कारों और ऐतिहासिक तथ्यों से भी जुड़ा हुआ है। यह मंदिर शिवभक्तों के लिए विशेष आस्था का केंद्र है और अपने अनोखे रहस्यों की वजह से दूर-दूर से श्रद्धालुओं को आकर्षित करता है।

यह मंदिर धर्म, इतिहास और आस्था का अनूठा संगम है, जहां विज्ञान भी कई घटनाओं का उत्तर देने में असमर्थ है। यदि आप अद्भुत और रहस्यमयी स्थानों की यात्रा करना पसंद करते हैं, तो रौरियानाथ महादेव मंदिर आपके लिए एक अविस्मरणीय अनुभव होगा।

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