
सीधी। आज बाल दिवस का शुभ अवसर है। यह दिन बच्चों के लिए उत्साहपूर्वक व हर्षोल्लास के साथ मनाया जाता है। कक्षा- 11वी मेंं गुरुकुल हायर सेकेंडरी स्कूल पड़रिया सीधी में अध्ययनरत छात्र ने कविता लिखी। आज इस पावन अवसर पर कवि अमन द्विवेदी द्वारा रचित कविता प्रस्तुत है। यह कविता वास्तव मे बचपन के जीवन की वास्तविक रेखाएं खींचती है एवं सरल व सहज़ शब्दों मे सटीक अर्थ व्यक्त करती है। कविता का शीर्षक है : ‘ यह बचपन का जीवन है ‘
यह बचपन का जीवन है।
सच्चा होता मन है
यह बचपन का जीवन है
न किसी प्रकार का छल है
शुद्ध व निर्मल मन है
यह बचपन का जीवन है
जीवन लगता हरा-भरा है
जीवन का यह काल सुनहरा है
समझ रहती ज़रा है
पर यह समय आनंदो से भरा है
शुद्ध व निर्मल मन है
यह बचपन का जीवन है
बच्चों मे रहता आपसी प्यार है
सब आपस मे रहते यार है
करते नहीं दुर्व्यवहार है
आपसे मे रखते सद्भाव है
शुद्ध व निर्मल मन है
यह बचपन का जीवन है
मन से रहते सच्चे है
ये होते बच्चे है
विचारो से भले कच्चे है
मन से होते अच्छे है
शुद्ध व निर्मल मन है
यह बचपन का जीवन है
न किसी से जलन है
आपसे मे बाते सहन है
आसमान मे चमकते तारे है
बच्चे होते प्यारे है
शुद्ध व निर्मल मन है
यह बचपन का जीवन है
सभी को ये बात सिखाते
सच्चाई की बात बताते
सीखना चाहिए हम सब को
न चाहिए किसे से लड़ना
न ही ईर्ष्या द्वेष मे पड़ना
शुद्ध व निर्मल मन है
यह बचपन का जीवन है।