इस बार शारदीय नवरात्र 10 दिन के – जानें शुभ योग, मां का आगमन और पूजन विधि

22 सितंबर से शुरू होकर 1 अक्टूबर तक चलेगा नवरात्र, 2 अक्टूबर को विजयादशमी,27 साल बाद मिलेगा दस दिन आराधना का दुर्लभ अवसर

Navratri 2025: नवरात्र प्रारंभ: 22 सितंबर (प्रतिपदा) समापन: 1 अक्टूबर (नवमी) विजयादशमी: 2 अक्टूबर विशेष: 27 साल बाद इस बार नवरात्र 9 नहीं, बल्कि पूरे 10 दिन मनाए जाएंगे।

नवरात्र में बन रहे शुभ योग

महालक्ष्मी राजयोग (24 सितंबर): चंद्रमा और मंगल का तुला राशि में साथ होना।

गजकेसरी योग और शुक्ल योग।

कई दिनों तक रहेगा रवि योग, जो खरीदारी व शुभ कार्यों के लिए अत्यंत लाभकारी है।

मां का आगमन हाथी पर

ज्योतिष के अनुसार इस बार देवी मां हाथी पर सवार होकर पधारेंगी।

हाथी पर आगमन = शांति, सुख-समृद्धि और धन की वृद्धि का संकेत।

यह वैश्विक स्तर पर भी सकारात्मक बदलाव का प्रतीक है।

तृतीया तिथि का अद्भुत संयोग

इस बार तृतीया 24 और 25 सितंबर दो दिन तक रहेगी।

इसे दुर्लभ और अत्यंत शुभ योग माना जाता है।

संकेत: कृषि उत्पादन में वृद्धि और आपदाओं में कमी।

ऐसे करें पूजन

घर के ईशान कोण (उत्तर-पूर्व दिशा) में लाल वस्त्र बिछाकर चौकी पर मां की प्रतिमा/चित्र स्थापित करें।

कलश स्थापना करें।

नौ दिनों तक धूप, दीप, पुष्प, फल और मिष्ठान अर्पित करें।

व्रत-संकल्प लेकर दुर्गा सप्तशती या देवी मंत्र का पाठ करें।

नवरात्र तिथियां और देवी स्वरूप

22 सितंबर – प्रतिपदा : मां शैलपुत्री

23 सितंबर – द्वितीया : मां ब्रह्मचारिणी

24-25 सितंबर – तृतीया : मां चंद्रघंटा (दो दिन)

26 सितंबर – चतुर्थी : मां कूष्मांडा

27 सितंबर – पंचमी : मां स्कंदमाता

28 सितंबर – षष्ठी : मां कात्यायनी

29 सितंबर – सप्तमी : मां कालरात्रि

30 सितंबर – अष्टमी : मां महागौरी (कन्या पूजन)

1 अक्टूबर – नवमी : मां सिद्धिदात्री (कन्या पूजन)

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