अपने लिए दुल्हन मांगने जिला कलेक्टर के पास पहुंचा दिव्यांग कहा- कोई दे नहीं रहा अपनी लड़की!
अपने लिए दुल्हन मांगने जिला कलेक्टर के पास पहुंचा दिव्यांग कहा- कोई दे नहीं रहा अपनी लड़की!
कलेक्टर महोदय, मैं दिव्यांग हूं इसके लिए कोई मुझे बेटी नहीं दे रहा है मेरे माता-पिता बूढ़े हैं वे खाना नहीं बना सकते और खा नहीं सकते बड़ा भाई अलग रहता है इसलिए मुझे एक जीवन साथी की जरूरत है।
यदि आप अनुगुल के किसी भी आश्रम से मेरे लिए जीवन साथी की व्यवस्था करेंगे तो मेरा और मेरे बूढ़े माता पिता का कल्याण होगा एक दिव्यांग युवक ने कलेक्टर को आवेदन लिखकर कलेक्टर द्वारा
आयोजित जन सुनवाई व शिकायत निवारण शिविर में अपने लिए जीवनसाथी तलाशने की गुहार लगाई है इस घटना ने शिविर में मौजूद सभी लोगों को भावुक कर दिया।
युवक की अजीबोगरीब और भावुक अपील से जहां सभी हैरान हैं वहीं चारों तरफ इस घटना की चर्चा जोरों पर है यह घटना अनुगुल जिले के छेंडीपदा पंचायत समिति कार्यालय की है जहां सोमवार को अनुगुल कलेक्टर का जन सुनवाई शिविर आयोजित किया गया था।
अनुगुल जिला कलेक्टर सिद्धार्थ शंकर स्वाईं खुद इस जन सुनवाई शिविर में उपस्थित रह कर लोगों के आवेदन व शिकायत की सुनवाई कर रहे थे इस शिविर में लोगों की लाइन
देखी गई और सभी ने आवेदन के माध्यम से जिला कलेक्टर से शिकायत की जिला कलेक्टर को सभी से शिकायती पत्र मिल रहे थे जहां शिकायतकर्ताओं के मुद्दे को हल करने का वादा किया गया।
इस बीच छेंडीपदा ब्लॉक के अंतर्गत आने वाले नुआपाड़ा गांव के मुरलीधर महापात्र के छोटे बेटे संजीव महापात्र ने एक आवेदन के माध्यम से जिला कलेक्टर के पास
शिकायत दर्ज कराई लेकिन उनकी शिकायत थोड़ी अजीब थी उन्होंने जिला कलेक्टर से जीवन साथी खोजने का आग्रह किया जिसने सभी को हैरान कर दिया।
जिला कलेक्टर या जिला प्रशासन की ओर से इस विषय पर तत्काल कोई प्रतिक्रिया नहीं आई है अब आगे यह देखना है कि दिव्यांग संजीव महापात्र जिला प्रशासन के सहयोग से दुल्हन खोजने में कितना सफल हो पाते हैं।