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सिंगरौली में एक ऐसी महिला जनप्रतिनिधि जो कलेक्टर का कर रही काम अफ़सर भी खाते हैं खौफ जाने 

सिंगरौली में एक ऐसी महिला जनप्रतिनिधि जो कलेक्टर का कर रही काम अफ़सर भी खाते हैं खौफ कही आ न जाये मैडम 

सिंगरौली जिले के पूर्व कलेक्टर शशांक मिश्रा को आज भी उनके काम करने के अंदाज को याद करते हैं. उनसे सभी अधिकारी कर्मचारी खौफ खाते थे. कलेक्टर का डर इस कदर था कि अधिकारी कर्मचारी समय पर अपने ड्यूटी पर पहुंचते थे. लेकिन उनके जाने के बाद से स्कूल, आगनबाड़ी, सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र ,सहकारी समिति की दुकान मनमानी तरीके से खुलने लगी हैं

जन प्रतिनिधि का कर रही हैं काम 

लेकिन जिले में एक ऐसी जनप्रतिनिधि हैं जिनके खौफ से कर्मचारी सहित अफसर भी समय से अपने कार्यालय पहुंच रहे हैं.उन्हें यह डर बना रहता है कि कहीं मैडम ना आ जाए

दरअसल जिला पंचायत उपाध्यक्ष व स्थायी शिक्षा समिति अध्यक्ष अर्चना सिंह पदभार ग्रहण करने के बाद वह लगातार स्कूल आगनबाडी सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र सहकारी समिति की दुकान पर पहुंच व्यवस्थाओं का जायजा लेती हैं

उनके कार्य करने की तरीकों को देख अब लोग कहने लगे हैं कि वह कलेक्टर का काम कर रही हैं. मैडम के काम करने के तरीके से अधिकारी सहित कर्मचारी खौफ रहे हैं.यदि ऐसा ही काम सांसद, विधायक करे तो फिर क्या मजाल की कोई अधिकारी कर्मचारी गड़बड़ करें

आइए जानते हैं कौन हैं वो महिला 

बता दें कि जिला पंचायत सदस्य अर्चना सिंह एक बार फिर वह मंगलवार को जिला मुख्यालय समेत आसपास गांवों के करीब 8 विद्यालयों का निरीक्षण कीं। जिसमें हर्रहवा हाई स्कूल के 5 शिक्षक नदारत मिले.जिस पर उपाध्यक्ष ने कड़ी नाराजगी जाहिर की है। वहीं इस दौरान उन्होंने मिड डे मिल को परखा। इस दौरान मिड डे मिल समूहों को कड़ी हिदायत भी दी हैं. उनके कार्य करने की तरीकों को देख अब लोग कहने लगे हैं कि वह कलेक्टर का काम कर रही हैं

जिपं उपाध्यक्ष ने कस्तूरबा गांधी बालिका छात्रावास बलियरी पहुंची। वहीं संस्था प्रमुख ने अवगत कराया कि छात्रावास के खाता संचालन एवं प्रबंधन में समस्या हो रही है,जिससे कई गतिविधियां प्रभावित हो रही हैं। अभी तक बिस्तर की राशि बालिकाओं को उपलब्ध नहीं करायी जा सकती है। शिक्षा समिति अध्यक्ष ने संबंधित अधिकारी से चर्चा कर निदान के लिए कहीं। इसके साथ ही शा.प्रा. शाला जुवाड़ी के निरीक्षण में कक्षाएं सामान्य रूप से संचालित पायी गयी।

प्रधानाध्यापक ने 2 वर्ष से बच्चों को गणवेश नहीं दिये जाने के संबंध में जिला स्तरीय अधिकारियों से चर्चा कर समस्या का निराकरण कराने की बात कही। इसके अलावा शा.मावि तेलगवां में प्रधानाध्यापक ने बताया कि पड़ोस की दिक्कत के कारण पेयजल की समस्या है जबकि विद्यालय में ओव्हरहेड टैंक लगा हुआ है। वहीं शाला भवन जर्जर हालत में है

लापरवाह शिक्षकों को सुधरने का दिया मौका 

जिला पंचायत उपाध्यक्ष ने अपने आकस्मिक निरीक्षण के दौरान शासकीय हाई स्कूल सासन पहुंचीं जहां प्रातरू 10.40 बजे स्कूल बंद रही। इस दौरान विद्यालय का ताला कक्षा 6 वीं की एक छात्रा द्वारा खोला जा रहा था। प्राचार्य सहित समस्त स्टाफ अनुपस्थित था।

शासकीय हाई स्कूल हर्रहवा में निरीक्षण में 8 नियमित शिक्षकों में से 5 एवं 3 अतिथि शिक्षक भी अनुपस्थित पाये गये। प्राचार्य को शाला का उचित प्रबंधन एवं स्टाफ पर नियंत्रण रखने एवं कार्य के प्रति लापरवाही बरतने वालों को समझाईश देकर एक बार सुधार का मौका दिया

मध्यान्ह भोजन की गुणवत्ता को लेकर दिए निर्देश 

जिला पंचायत उपाध्यक्ष एवं शिक्षा स्थायी समिति अध्यक्ष अर्चना सिंह ने मंगलवार को प्राथमिक शाला चंदावल एवं गहिलगढ़ पश्चिम के निरीक्षण में समूह द्वारा खाना बाहर से बनाकर लाये जाने पर आपत्ति जतायी गयी। प्रधान अध्यापकों से कहा गया कि विद्यालय परिसर में ही गुणवत्ता युक्त एवं मीनू के अनुसार भोजन बनवायें एवं वितरण करायें।

निरीक्षण के दौरान संस्था प्रमुखों को समय से समय तक शाला संचालन बच्चों को गुणात्मक शिक्षा देने एवं छात्र हितग्राही योजना का लाभ संबंधितों को दिये जाने के लिए निर्देश दीं। भ्रमण में जिला शिक्षा अधिकारी के प्रतिनिधि के रूप में बीआरसीसी बैढऩ साथ में मौजूद रहे

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